ओ तेरी..
एक ऐसी बीमारी जिसमे मरीज खुद को गाय-भैंस समझ कर घास चरने लगता है
सर्दी- जुखाम, पेट दर्द, सिर दर्द और ना जाने कई ऐसे बीमारियां हैं जो आज भी बेहद ही सामान्य हो चुकी है. इस बीमारी से तो हर कोई वाकिफ है जिसका इलाज भी बड़ी आसानी से मिल जाता है, पर एक ऐसी बीमारी जिसमें एक व्यक्ति इंसान नहीं बल्कि गाय- भैंसों की तरह बर्ताव करने लगे, यह एक तरह की अनोखी बीमारी है जो किसी को भी हो सकती है. इसमें व्यक्ति अपने आप को गाय और भैंस की तरह समझ कर ठीक जानवरों के तरह जमीन पर अपने हाथ पांव रोपकर घास चरते हैं. आज हम आपको एक ऐसे ही बीमारी के बारे में बताने जा रहे हैं जिसमें मनुष्य भूल जाता है कि वह एक आदमी है.हम आपको इस गंभीर बीमारी के बारे में बताएंगे कि आखिर किस तरह से यह बीमारी होती है और इसका इलाज क्या है और आखिर इस बीमारी के होने का सबसे बड़ा कारण क्या होता है.
बोएंथ्रोपी बीमारी का परिचय
जब इंसान भ्रम की अवस्था में होता है तब वह इस तरह की बीमारी का शिकार हो जाता है. हालांकि सम्मोहन के जरिए भी इस बीमारी का शिकार एक व्यक्ति हो सकता है. अभी तक ज्यादातर लोगों में यह नहीं पाया गया है, लेकिन जिसके साथ भी यह देखा गया है उसके परिणाम बेहद ही खतरनाक आए हैं. कई बार सपनों में भ्रम की स्थिति पैदा हो जाने से भी यह बीमारी हो सकती है, जिसमें पीड़ित व्यक्ति हाथ और पैर जमीन पर रखकर गाय या भैंस की तरह चरने लगता है. उसे लगता है कि वह इन्हीं में से कोई एक जीव है और उनकी तरह घास खाने की कोशिश करता है. अभी तक इस बीमारी का उपचार ठोस रूप से विकसित नहीं हुआ है पर कई परिस्थितियों में मनोचिकित्सक साइको फार्माकोथेरेपी को प्राथमिकता देते हैं, ताकि किसी व्यक्ति को भ्रम की स्थिति से छुटकारा मिल सके.
नव-बेबीलोनियन साम्राज्य के राजा नेबूकग्नेजर को हुई थी यह बीमारी
जब भी बोएंथ्रोपी बीमारी का नाम आता है तब नेबूकग्नेजर नाम के एक राजा की चर्चा हमेशा होती है, जो नव बीबीलोनियन साम्राज्य के एक शक्तिशाली राजा थे. इस बीमारी के कारण वो राजा गाय की तरह बर्ताव करने लगे थे और घास चरा करते थे. इस वक्त इंटरनेट पर उनकी कई ऐसी तस्वीर मौजूद है जो उनकी बीमारी का साक्षात उदाहरण पेश करती हैं. इस बात की जानकारी बुक ऑफ डेनियल में मिलती है.